एसीबी की टीम ने गमहरिया अंचल अमीन को 10000 घुस लेते पकड़ा
एसीबी की टीम ने गमहरिया अंचल अमीन को 10000 घुस लेते पकड़ा

सरायकेला जिले के गम्हरिया अंचल कार्यालय से अमीन राज किशोर भगत को एसीबी की टीम ने रंगे हाथ घूस लेते किया गिरफ्तार ।
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि किसी जमीन का डीमारकेशन करवाने के लिए सरकारी अमीन राज किशोर भगत के द्वारा 20000 रुपए की मांग की गई थी जहां इसकी शिकायत एंटी करप्शन ब्यूरो जमशेदपुर को दे दी गई थी पूरी दल बल के साथ पहुंची एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम पहले से सादे कपड़े में घात लगाए मौजूद थी और जैसे ही आवेदन कर्ता ने घूस के पैसे अमीन को दिए वैसे ही एंटी करप्शन ब्यूरो ने उसे धर दबोचा और कमरा संख्या 102 में उसे काफी देर तक पूछताछ की एवं पुलिसिया अभिरक्षा में उसे गिरफ्तार कर अपने साथ ले गए हैं एवं आगे की कानूनी कार्रवाई की जा रही है ।
झारखंड में भ्रष्टाचार अब दिखाई देने लगा है जहां पूर्व में 3-3 आईएस अधिकारी सलाखों के पीछे देखे जा रहे हैं वही अब सरायकेला जिले के गम्हरिया अंचल में भी भ्रष्टाचार खुली आंखों से देखा जा सकता है जहां झारखंड के निगरानी विभाग ने आज ₹10000 घूस लेते हुए गम्हरिया अंचल के अमीन राजकिशोर भगत को गिरफ्तार किया है। जमशेदपुर के एसीबी टीम सादे वर्दी में पहुंची और ₹10000 का प्रलोभन देते हुए अमीन को सरेआम गिरफ्तार किया है वही मौके से अंचल अधिकारी नदारद है कोई भी पदाधिकारी कुछ भी कहने से बचता नजर आ रहा है भ्रष्टाचार के इस हरे भरे पेड़ का जड़ किस-किस पदाधिकारियों तक फैला है यह तो एसीपी का रिपोर्ट ही तय करेगा फिलहाल अंचल के उस अमीन को गिरफ्तार कर लिया गया है।
सरायकेला जिले के गम्हरिया अंचल में रंगे हाथ घूस लेते पकड़ाए भ्रष्ट आमीन के खिलाफ शिकायत करने वाले ने दी अपनी प्रतिक्रिया कहा, लगातार घुस की रकम मांगने के लिए अमीन कर रहा था परेशान
जानकारी देते हुए आवेदन कर्ता मनोज कुमार सिंह ने बताया कि गम्हरिया अंचल कार्यालय की स्थिति पूरी तरह से डामाडोल हो चुकी है निचले स्तर से लेकर पहले रैंक के पदाधिकारी तक भ्रष्ट है 20 मई को ही उनके बड़ा गम्हरिया मौजा के खाता संख्या 529 का डीमारकेशन करवाना था। जहां नापी की भी गई लेकिन उसके बाद रिपोर्ट देने के नाम पर टालमटोल का रवैया अपनाया जाने लगा लगातार दबाव बनाया जाने लगा की घूस की रकम दे वरना नापी की गई भूमि को किसी और की भूमि दर्शा दिया जाएगा जिसके बाद परेशान होकर उन्होंने निगरानी विभाग का दामन थामा और पूरा मामला निगरानी विभाग से जाकर आज जब पुनः सरकारी अमीन के द्वारा ₹20000 की मांग की गई तो अपनी मजबूरी बताते हुए ₹10000 का भुगतान उन्होंने किया और मौके पर सादे लिबास में मौजूद एसीबी की टीम ने घूस लिए नोटों के साथ अमीन को धर दबोचा पूरी जानकारी शिकायतकर्ता ने हमारे साथ साझा की है।